ने कांग्रेस पर हमला बोलने के लिए एक बार फिर पूर्व प्रधानमंत्री का नाम लिया है। पीएम मोदी ने दिल्ली में आयोजित एक चुनावी रैली में कहा कि राजीव गांधी युद्धपोत से छुट्टियां मनाने जाते थे। उन्होंने कहा कि कांग्रेस नेता अपने जिन पूर्वजों के नाम पर वोट मांग रहे हैं, उनके कारनामों का हिसाब भी उन्हें देना होगा। दिल्ली के ऐतिहासिक रामलीला मैदान में पीएम मोदी ने राजीव गांधी पर सेना के विमानवाहक पोत आइएनएस विराट का निजी टैक्सी की तरह उपयोग करने का आरोप लगाया। क्या आप जानते हैं राजीव गांधी की किन छुट्टियों की बात पीएम मोदी कर रहे हैं और वह कौन सी जगह है? हम आपको उस जगह और उसकी बेइंतहा खबसरती के बारे में विस्तार से बता रहे हैं। यह जगह आज एक हॉट टूरिस्ट डेस्टिनेशन है और आप भी वहां छुट्टियां बिता सकते हैं। पहले बात राजीव गांधी कीछुट्टियों की वो साल 1987 के अंतिम दिन थे। पूरी दुनिया नए साल के स्वागत की तैयारी कर रही थीऐसे में - - तत्कालीन प्रधानमंत्री राजीव गांधी भी अपने परिजनों और खास दोस्तों के साथ छुट्टियां बिताने के लिए गए। नए साल के स्वागत की तैयारी में 10 दिन की छुट्टी मनाने के लिए राजीव गांधी अरब सागर में मौजूद भारत के ही एक लगभग अलग-थलग पड़े द्वीप पर गए थे। यह द्वीप अलग-थलग जरूर था, लेकिन था बेहद ही खूबसूरत । इस दौरे पर उनके साथ उनकी पत्नी सोनिया गांधी, दोनों बच्चे (प्रियंका गांधी और राहुल गांधी), इटली से सोनिया गांधी के परिजन, अमिताभ बच्चन और उनका परिवार व कुछ अन्य दोस्त भी थे। आरोप है कि इस दौरान उन्होंने इस्तेमाल किया था। तत्कालीन प्रधानमंत्री, उनके परिजनों और करीबी दोस्तों के यहां छुट्टियां मनाने के बाद यह द्वीप सुर्खियों में आ गया और यहां पर्यटकों की संख्या बढ़ने लगी। आखिर उस द्वीप का नाम क्या है जी हां, हर कोई यही जानना चाहता है कि जिस जगह की बात कह ख्वसद कर रहे हैं और पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी ने छुट्टियां बिताई थी, उसका नाम क्या है। उस द्वीप का नाम है बंगाराम और यह केंद्र शासित प्रदेश लक्ष्यद्वीप का हिस्सा है। दिल्ली से इसकी दूरी करीब सकते हैं इस दो हजार किमी और कोचीन से करीब 465 किमी. है। यह प्रवाल से बना द्वीप है और इसका कुल क्षेत्रफल करीब 0.623 स्क्वायर किलोमीटर है। इस द्वीप के बीच में खारे पानी का एक बड़ा सा तालाब है, जिसके चारों और केवड़े और नारियल के पेड़ हैं। बंगाराम द्वीप पर टूरिज्म बंगाराम द्वीप पर साल 1974 में टूरिज्म की शुरूआत हुई थी, जब यहां पर आइलैंड बीच रिजॉर्ट की शुरुआत हुई थी। यहां तक पहुंचना काफी मुश्किल था, क्योंकि कॉमर्शियल फ्लाइट यहां तक उपलब्ध नहीं थीं। बाद में जब कोच्चि से अगत्ती तक विमान सेवा शुरू हुई तो बंगाराम में पर्यटन उद्योग को पंख लगे। इस रिजॉर्ट में 60 कॉटेज हैं। लक्षद्वीप में शराबबंदी लागू है, लेकिन बंगाराम द्वीप ही ऐसी जगह है, जहां आप इसका सेवन कर सकते हैं। यह द्वीप रातोंरात उस वक्त चर्चा में आया जब साल 1987 के अंतिम दिनों में प्रधानमंत्री राजीव गांधी अपने परिजनों और दोस्तों के साथ यहां छुट्टियां मनाने पहुंचे। बंगाराम में आपको क्या मिलेगा अगर आप भी बंगाराम द्वीप पर छुट्टियां मनाना चाहते हैं तो पहले यह जानना चाहेंगे कि वहां आपको क्या मिलेगा। यहां आपको समुद्र का खबसरत नजारा मिलेगा और पानी भी भारत के किसी भी द्वीप से साफ नजर आएगा। समुद्र के बीच पर दूर-दूर तक पसरी साथ रेत, ताड़ के पेड, समुद्र का गर्म पानी, बेहद सुहावना मौसम, खूबसूरत सूर्यास्त जैसे नजारे आपकी छुट्टियों का मजा दोगुना कर देंगे। इसके अलावा यहां जाकर आप स्क बा डाइबिंग, गोताखोरी, डीप सी फिशिंग जैसे एडवेंचर में भाग ले सकते हैं। कैसे पहुंचे बंगाराम बंगाराम में छुट्टियां मनाने का मन बना ही लिया है तो अब जान लीजिए वहां तक कैसे पहुंच सकते हैं। यहां का नजदीकी एयरपोर्ट अगत्ती है। इसके अलावा कोचीन अंतरराष्टीय एयरपोर्ट उतरकर भी आप यहां पहुंच सकते हैं। इन दोनों जगहों के लिए बेंगलुरु, कोच्चि, चेन्नई व देश के दसरे हिस्सों से विमान सेवा उपलब्ध है कब जाएं बंगाराम मन तो बना लिया, अब यह भी जान लें कि किस मौसम में बंगाराम जाना सबसे अच्छा रहेगा। मानसून और सर्दियों के मौसम में बंगाराम जाकर आप प्राकृतिक खूबसूरती का भरपूर लुत्फ उठा सकते हैं। गर्मियों के महीनों में जाना चाहते हैं तो मार्च से मई के बीच यहां पहुंचे। इस दौरान यहां हल्की गर्मी होती और तापमान 25 से 35 डिग्री सेल्सियस के बीच रहता है। मानसून के दौरान भी आप जून से अगस्त तक यहां जाएं तो हरियाली और मौसम की अटखेलियां देखकर रोमांचित हो उठेगे। इस दौरान यहां का तापमान 25 डिग्री के आसपास रहता है। अगर आप सर्दियों चाहते हैं तो दिसंबर से फरवरी के बीच यहां जाना अच्छा रहेगा। इस दौरान जब उत्तर भारत में सर्दी का सितम रहता है तब यहां का तापमान 20-30 डिग्री होता है। क्या है विवाद बताया जाता है कि जब तत्कालीन प्रधानमंत्री छुट्टियां बिताने अपने परिजनों और दोस्तों के साथ बंगाराम गए तो उस दौरान युद्धपोत द्हर विराट उनके परिवार को ले जाने के लिए इस्तेमाल हआ था। खबरें थीं कि हर विराट को पूरे 10 दिन तक अरब सागर में तैनात किया गया था। उस वक्त कुछ रक्षा विशेषज्ञों ने राजीव गांधी की छुट्टियों में नौसेना के इस्तेमाल करने पर सवाल भी उठाया था। बताया जाता है कि इस दौरान अगत्ती में स्पेशल सेटेलाइट का सेटअप भी लगाया गया था।